भारतीय जवानों पर दबाव बनाने की कोशिश में चीन, तिब्बत में कर रहा फायरिंग का
सूत्रों ने बताया कि चीनी सेना तिब्बत में अपने नियंत्रित क्षेत्र के भीतर फायरिंग का अभ्यास कर रही है, लेकिन लद्दाख से लेकर अरुणाचल प्रदेश तक एलएसी के साथ कई स्थानों पर उसकी आवाजों को सुना जा सकता है. इसे एलएसी पर तैनात भारतीय सैनिकों पर मनोवैज्ञानिक दबाव बनाने के प्रयास के तौर पर देखा जा रहा है.
- एलएसी एरिया में सुनी जा रहीं फायरिंग की आवाजें
- रेजांग ला, रेचन ला हाइट्स भारत की स्थिति मजबूत
- चीन अपने इलाके में बढ़ा रहा हथियारों की संख्या
पूर्वी लद्दाख में लाइन ऑफ एक्चुअल कंट्रोल (LAC) पर तनाव के बीच चीन मनोवैज्ञानिक तरीके से भारतीय सेना के जवानों पर दबाव बनाने की कोशिशें कर रहा है. एलएसी और उसके आसपास के एरिया में फायरिंग से चीनी सेना इस तरह की हरकत कर रही है.
सरकार के टॉप सूत्रों ने बताया कि चीनी सेना तिब्बत में अपने नियंत्रित क्षेत्र के भीतर फायरिंग का अभ्यास कर रही है, लेकिन लद्दाख से लेकर अरुणाचल प्रदेश तक एलएसी के साथ कई स्थानों पर उसकी आवाजों को सुना जा सकता है. इसे एलएसी पर तैनात भारतीय सैनिकों पर मनोवैज्ञानिक दबाव बनाने के प्रयास के तौर पर देखा जा रहा है.
सरकार के टॉप सूत्रों ने बताया कि चीनी सेना तिब्बत में अपने नियंत्रित क्षेत्र के भीतर फायरिंग का अभ्यास कर रही है, लेकिन लद्दाख से लेकर अरुणाचल प्रदेश तक एलएसी के साथ कई स्थानों पर उसकी आवाजों को सुना जा सकता है. इसे एलएसी पर तैनात भारतीय सैनिकों पर मनोवैज्ञानिक दबाव बनाने के प्रयास के तौर पर देखा जा रहा है.
सूत्रों ने बताया, भारत ने रेजांग ला और रेचन ला हाइट्स के पास भारतीय सेना के कब्जे वाले स्थानों पर अपनी स्थिति मजबूत कर ली है. साथ ही इन ऊंचाइयों पर कन्सर्टिना के तार लगा दिए हैं. चीनी सैनिकों को चेतावनी दी गई है कि अगर उन्होंने इसका उल्लंघन किया तो उन्हें इसका नतीजा भुगतना पड़ेगा.
सूत्रों ने बताया कि ब्रिगेडियर और कमांडर स्तर की वार्ता के दौरान भारतीय पक्ष ने चीन के समक्ष चीनी सेना के सैनिकों के लाठी और भाले के साथ तैनाती का मुद्दा भी उठाया. सूत्रों ने बताया कि चीनी सेना ने सीमा के समीप भारी टैंकों के साथ साथ 50,000 सैनिक तैनात किए हैं.
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